Tenant Rights in India: भले आज के समय में होम लोन की तमाम सुविधाएं कितनी ही मौजूद क्यों ना हो लेकिन फिर भी मकान खरीद पाना हर किसी के बस में नहीं! खास करके गांव से प्रवासित हुए वैसे लोग जब City की तरफ कुच करते हैं, तो उनके पास कई वर्षों तक अपना गुजारा किराए के मकान में रहकर ही करना पड़ता है! ऐसे में कई बार मकान मालिकों की मनमानिया का असर दिखता है!
कई बार तो उन्हें अचानक से मकान खाली करने के लिए अथवा किराया बढ़ाने के लिए भी बोल दिया जाता है! ऐसे में अगर आप भी किराए के मकान में रहते हैं! तो किरदारों के संबंध में कुछ खास बातें आपको ठीक से समझ लेनी चाहिए, ताकि मकान मालिक आपकी स्थितियों का कतई गलत फायदा ना उठा सके!
Tenant Rights in India
एक तरफ जहां भारतीय कानून के अनुसार अगर कोई व्यक्ति लगातार 12 वर्षों तक किसी संपत्ति में बिना किसी आपत्ती के रह रहा है और मकान मालिक ने उसे कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की है! तो वह किराएदार उसे संपत्ति का दावेदार घोषित हो जाएगा! इसे प्रतिकूल कब्जा अधिनियम भी कहा जाता है!
इसके विपरीत कई मकान मालिक किराएदारों के मजबूरी का फायदा उठाकर मनमानियां करते हैं और उनको बेहद परेशानी आए दिन झेलनी पड़ती है! हाल फ़िल्हाल मे दिल्ली में हुई घटना इसकी परिचायक है!
किरायेदारों को जरूर पता होनी चाहिए यह पांच बातें !
- कानूनी तौर पर रेंट एग्रीमेंट में यह बात स्पष्ट तौर पर लिखी गई है कि, मकान मालिक किराएदार को मकान से तब तक नहीं निकाल सकता, किराएदार 2 महीने का किराया नहीं दे रहा है अथवा उसके मकान का इस्तेमाल किसी कमर्शियल परपज से किया जा रहा हो, जिसकी जानकारी रेंट एग्रीमेंट में नहीं डाली गई है, तो मकान मालिक अपने मनमर्जियां अर्थात उनका जब चाहे तब घर खाली करने के लिए कह सकता है!
- इसके अलावा अगर मकान मालिक मकान का किराया बढ़ाना चाहता है, तो उसे किराएदार को कम से कम 3 महीने पहले इसके लिए नोटिस देना होगा, अचानक से किराया कतई नहीं बढ़ाया जा सकता!
- किराएदार का अधिकार क्षेत्र भी है कि मकान मालिक से बिजली का कनेक्शन, साफ पानी और पार्किंग की मांग करे। जिसके लिए मकान मालिक इनकार नहीं कर सकते!
- निश्चित तौर पर रेंट एग्रीमेंट लागू होने के बाद अगर आपका मकान का ढांचा खराब हो जाता है, तो उसे ठीक करने का जिम्मा भी मकान मालिक का ही है!
- किसी विवाद की स्थिति में किराएदार रेंट अथॉरिटी से संपर्क साध सकता है!
- रेंट एग्रीमेंट लागू होने के बाद कोई भी मकान मालिक उसे बार-बार डिस्टर्ब नहीं करेगा अथवा मकान मालिक किराएदार के घर रिपेयर से जुड़े किसी काम या दूसरे मकसद से घर आना जाना चाहता है! तो उसे कम से कम 24 घंटे पहले के आधार को लिखित नोटिस देकर सूचित करना पड़ेगा!
मकान मालिकों के लिए जरूरी बातें !
मकान मालिक का खुद को सुरक्षित रखने के लिए कुछ महत्वपूर्ण कदम उठा सकते हैं! जैसे कि हर किराएदार को कानूनी रूप से रजिस्ट्रेशन रजिस्टर्ड होना जरूरी है अथवा 11 महीने की किराएदारी समझौते को अनिवार्य रूप से हर 11 महीने में नवीनीकृत करना भी जरूरी है! इससे किसी भी तरह के कानूनी जटिलता से बचा जा सकता है!